Posts

Showing posts from 2024

Never Judge a Book by its Cover

Image
  Never Judge a Book by its Cover  एक बार एक 24 साल का लड़का ट्रेन में अपने पिता के साथ यात्रा कर रहा था। वह बहुत ही उत्तेजित और उत्साहित था। इस ट्रेन में उनके साथ एक दंपति बैठा हुआ था। वह लड़का बार-बार खिड़की से बाहर देखकर अत्यंत खुश हो रहा था। अचानक से वह लड़का जोर-जोर से ताली बजाकर उत्साहित होता हुआ बोल पापा देखिए पेड़ पीछे जाते जा रहे हैं और हम आगे जा रहे हैं। उसके पिता मुस्कुरा दिए लेकिन साथ बैठे दंपति को बहुत ही आश्चर्य हुआ। कितना बड़ा लड़का किस तरह से बच्चों की तरह व्यवहार कर रहा है?  लेकिन वह दंपति चुपचाप बैठा उस लड़के को देखता रहा। थोड़ी देर बाद ही वह लड़का फिर से उत्साहित होकर अपने पिता से बोा पापा देखिए बादल हमारे साथ-साथ चल रहे हैं। अब इस बार उसे दंपति से रहा नहीं गया और उन्होंने उसे लड़के के पिता से कहा की आप अपने बेटे को किसी डॉक्टर को क्यों नहीं दिखाया। इतनी बड़ी उम्र में भी यह कैसी बच्चों जैसी हरकतें कर रहा है और आप सिर्फ मुस्कुरा रहे हैं। इस पर उसे लड़के के पिता ने उसे दंपति से कहा कि हम अभी डॉक्टर क्या से ही आ रहे हैं। आपसे कुछ दिनों पहले तक यह लड़का ब्ल...

Hindi Kavita Saath (हिंदी कविता साथ)

Image
साथ  कठिनाइयां भी हों सरल हार हो जाए विफल मझधार में कश्ती खड़ी आगे भी जाएगी निकल तुम हाथ तो दो।। बीत जाएंगे ये पल फिर नहीं मिलेंगे कल हौसला फिर हो सबल आशा का खिल जाए कमल तुम साथ तो दो।। By- Dr.Anshul Saxena 

सम्मान- रिश्तों का(Samman Rishton Ka)

Image
          सम्मान रिश्तों का   घर में दो रोटी ज्यादा बन जाएं, चलेगा। सब्जी की जगह दाल बन जाए ,चलेगा। झाड़ू पोंछा लेट हो जाए,चलेगा। बिना बात का झगड़ा नहीं चलेगा😐 आज की मेरी पोस्ट उन पुरुषों के लिए है जो अपने अहम, ना समझी और तुनक मिजाजी में अपने परिवार में कड़वाहट घोल देते हैं। घर आँगन है कोई जंग का मैदान नहीं है  वह आदमी ही क्या जिसे रिश्तो का मान नहीं है यह घर है हर बात सहज होनी चाहिए बात बे बात ना बहस होनी चाहिए छोटी-छोटी बातों पर बात मत बढ़ाइए घर को घर रहने दें अखाड़ा मत बनाइए अरे तुम किससे लड़ रहे हो? किसको जता रहे हो? जो खुद नहीं सीखे वह किसी और को सिखा रहे हो। अगर कुछ सामान पड़ा है तुम उठा लो अगर खाना लेट हो गया है तो किचन में जाकर थोड़ा हाथ बँटा लो। अगर सब्जी में नमक कम है तो थोड़ा ऊपर से मिला लो, और अगर ज्यादा है तो थोड़ा घी मिला लो अब सामने वाले ने जानबूझकर तो गलती नही करी होंगी न तो तुम किसको समझा रहे हो? बात में बात नहीं पर झगड़ा लगा रहे हो दिलों की कड़वाहट को साफ कीजिए  छोटी-मोटी गलतियों को माफ कीजिए ऐसे ना घर चलते है...